RBI यानी रिजर्व बैंक ऑफ़ इंडिया क्रेडिट कार्ड को लेकर नियमों में बदलाव कर रहा है और बैंकों से ग्राहकों को दिए जाने वाले क्रेडिट कार्ड को लेकर RBI विशेष तरीके से सोच रहा है ग्राहकों को सहुलियत हो, उनको कोई मुश्किलों का सामना न करना पड़े।
इसलिए RBI क्रेडिट कार्ड के नियमों को लेकर सख्त है।
लेकिन शायद यह बैंकों को भा नहीं रहा इसलिए अब बैंक ने आरबीआई से क्लारिफिकेशन मांगा है, पूरा मामला क्या है, आपको समझाते हैं।
मार्च में आर बी आई ने ग्राहकों के हित के लिए क्रेडिट कार्ड से जुड़े नियमों में कुछ बदलाव किए थे इसमें आरबीआई ने सर्कुलर जारी करते हुए कहा था कि बैंक को कार्ड जारी करते वक्त अपने ग्राहकों को अपनी पसंद का नेटवर्क चुनने का विकल्प देना होगा।
उन्हें अपने मौजूदा ग्राहकों को भी कार्ड के रिन्यूवल के वक्त ये विकल्प देना होगा। आरबीआई का यह सर्कुलर 6 सितम्बर 2024 से लागू हो जाएगा और अभी जब एक बैंक ग्राहक को डेबिट कार्ड या ग्रेड कार्ड इशू करता है तो वो आम तौर पर वीजा या मास्टर कार्ड नेटवर्क का इस्तेमाल करता है।
कुछ ऐसे बैंक हैं जो अपने कार्ड के वैरिएंट एक ऐसी ज्यादा कार्ड नेटवर्क पर इशू करते है।
HDFC Bank का इनफीनिया कार्ड का उदाहरण है और वीजा और मास्टर कार्ड दोनों नेटवर्क पर जारी किया जाता है। इस कार्ड को एच डी एफ सी बैंक का मिलेनिया, क्रेडिट कार्ड, 4 नेटवर्क Visa, Master Card, Diners Club और Rupay पर इशू किया जाता है।
आरबीआई के सर्कुलर के लागू होने के बाद बैंकों को ग्राहक को कोई नेटवर्क का विकल्प देना होगा मान लेते है की अगर आपका बैंक मास्टर कार्ड नेटवर्क का कार्ड शो करता है और आप उसकी जगह विजा नेटवर्क का कार्ड चाहते हैं तो बैंक आपकी मांग पूरी करेगा।
अब इस पर बैंकों ने आरबीआई से क्लारिफिकेशन मांगा है।
एक सीनियर बैंक एग्जीक्यूटिव ने ईडी को बताया की इस मुद्दे पर स्पष्टीकरण मांगा गया है कि नेटवर्क का विकल्प सभी मौजूदा ग्राहकों को दिया जाना चाहिए या सिर्फ रिन्यूवल्स के समय दिया जाना चाहिए।
सीनियर बैंक एग्जीक्युटिव का मानना है की रिन्यूवल्स के दौरान इस तरह के विकल्पों की पेशकश करने से व्यापार में डिस्टर्बेंस आएंगी क्यूँकि, कस्टमर्स को प्रोफाइल्स, ब्रैंडिंग, अरेंजमेंट और दूसरे प्राइसिंग और बेनिफिट्स के आधार पर कार्ड्स दिए जाते हैं।
एक और अधिकारी ने कहा कि इस मसले को आगे इंडियन बैंक असोसिएशन यानी IBA के समक्ष रखा जाएगा इस मुद्दे को आगे विचार विमर्श के लिए RBI में उठाने जा रहे हैं और एक रणनीति के साथ हाजिर होंगे।
ऑफिशियल ने कहा कि पहले से ही नए ग्राहकों के पास उनका पसंदीदा नेटवर्क चुनने का विकल्प है अगर कोई ग्राहक संतुष्ट है तो वो एक अलग नेटवर्क चुन सकता है और मौजूदा खाता बंद कर सकता है।
अब बता दे की इस नियम के दायरे में उन बैंकों को नॉन बैंकों को बाहर रखा गया है। जिनकी तरफ से जारी एक्टिव कार्ड की संख्या 10 लाख तक है।अब क्या बैंक के इस क्लारिफिकेशन मांगने पर आर बी आई कैसे रिएक्ट करता है।
इस मामले में क्या कुछ और अपडेट आयेंगे तो हम आगे जरूर बताएँगे|
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